सोमवार, नवंबर 17, 2014

वह अमृतसर में लल्ली के नाम से जानी जाती है

नामुमकिन कुछ भी नहीं है, अपना लक्ष्य तय करें और फिर आगे बढ़ जाएं। जिंदगी में मैेंने यही फॉमूर्ला अपनाया और सफल हुई। जिस काम को करने की ठान लो, उसमें सौ प्रतिशत सफलता हासिल करने का जज्बा रखो। यह कहना है लाफ्टर चैलेंज में शिरकत कर चुकी अंबरसरी कुड़ी भारती का। उनकी उपलबिधयों के लिए उन्हें गत दिनों कल्पना चावला अवार्ड से सम्मानित भी किया जा चुका है। पिछले कई साल से पंजाब नाटशाला से जुड़ी भारती  उर्फ लल्ली आज अमृतसर के साथ पूरे देश में अपनी अलग पहचान बना चुकी हैं।
भारती ने बताया कि वह एक गरीब परिवार से संबंध रखती थी, जिस कारण उन्हें पढ़ाई में कई समस्याओं का सामना करना पड़ा था। उन्होंने एनसीसी भी ज्वाइन की। उनका कहना है कि जिंदगी में हार-जीत तो लगी रहती है। मैंने विपरीत परिस्थितियों में हारकर जीतना सीखा है।
उन्होंने बताया कि मैं शुरू से ही बड़ा बोलती थी, जिसके कारण मैं दोस्तों में वह हमेशा मजाक का पात्र बनी रहती थीं। भारती ने कालेज  के साथ साथ पंजाब नाटशाला में भी काम सीखना शुरू किया। इसके साथ उन्होंने कालेज के यूथ फेस्टिवल में अपनी कला का जबर्दस्त प्रदर्शन किया। इससे लोगों में उनकी छवि एक हास्य कलाकार के रूप में बन गई। इसके बाद मुझे लाफ्टर चैलेंज में काम करने का मौका मिला और मैंने अपनी आवाज और कलाकारी से एक अलग ही मुकाम हासिल किया।
लल्ली ने बताया कि आज वह अमृतसर में  लल्ली के नाम से जानी जाती हैं, वही वह दूसरे राज्यों में अमृतसरी गर्ल के नाम से भी जानी जाती हैं। उनका कहना है कि आज भी वे मनचाही कामयाबी नहीं हासिल कर पाई हैं।

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